बीजेपी में हुए भितरघात को लेकर मंथन जारी हो गया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की खटीमा सीट समेत भाजपा 23 विधानसभा सीटों पर अपना वर्चस्व नहीं कायम नहीं कर सकी। अब इन सभी विधानसभा सीटों में जिसमें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की सीट खटीमा पर सबसे ज्यादा भितरघात होने की आशंका जताई जा रही है। जिसके चलते केंद्रीय नेतृत्व भी पार्टी के अंदर हुए भीतरघात करने वालों पर सख्ती से निपटने के मूड में दिखाई दे रही है।
भाजपा जांच कमेटी के सदस्य
भाजपा के प्रदेश महामंत्री सुरेश भट्ट, कुलदीप कुमार, पुष्कर काला, विनय रोहिला, डॉ देवेंद्र भसीन, विरेंद्र सिंह बिष्ट, अनिल गोयल, मयंक गुप्ता, सुरेश जोशी, बलवंत सिंह भौर्याल, खिलेंद्र चौधरी, बलराज पासी और केदार जोशी को प्रदेश भाजपा ने उत्तराखंड के 2022 में हुए पार्टी के अंदर भितरघात को लेकर यह कमेटी बनाई है । यह जांच कमेटी 29 मार्च से सभी 23 विधानसभा क्षेत्रों में हार के कारणों का पता लगाने के लिए दौरा पर जायेगी।
भाजपा में भितरघात करने वाले कार्यकर्ताओं व नेताओं पर होगी कार्यवाही। भाजपा की 23 विधानसभा सीटों में हार पर हार के बाद अब शुरू हो गया है। जिसमें मंथन सबसे अधिक मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की विधानसभा सीट खटीमा को लेकर ज्यादा चिंतित है। वही हरिद्वार की पिरान क्लियर में पार्टी प्रत्याशी की जमानत जप्त हो गई थी। यही नहीं कुछ सीटों पर भाजपा तीसरे पायदान पर ही खड़ी मिली। इन सभी हार के कारणों को जानने के लिए भाजपा ने इस कमेटी का गठन किया है। जिसकी रिपोर्ट आने के बाद केंद्रीय नेतृत्व को सौंप दिया जाएगा।