मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को नई दिल्ली में केंद्रीय रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह से शिष्टाचार भेंट की। मुख्यमंत्री ने केंद्रीय रक्षा मंत्री को बताया कि उनके द्वारा भारत सरकार की “अग्निपथ योजना के संबंध में 20 जून 2022 को उत्तराखण्ड के समस्त जनपदों के पूर्व सैन्य अधिकारियों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से एक संवाद कार्यक्रम आयोजित किया गया । संवाद कार्यक्रम के दौरान समस्त पूर्व सैन्य अधिकारियों द्वारा भारत सरकार की अग्निपथ योजना को वर्तमान वैश्विक परिप्रेक्ष्य में सैन्य आधुनिकीकरण, देश की सुरक्षा एवं युवाओं के उज्जवल भविष्य के अनुकूल बताया गया। साथ ही संवाद कार्यक्रम में प्रतिभाग करने वाले सभी पूर्व सैन्य अधिकारियों द्वारा “अग्निपथ योजना” के संबंध में अपने-अपने सुझाव / विचार भी व्यक्त किये गये। मुख्यमंत्री ने केंद्रीय रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह को पूर्व सैन्य अधिकारियों द्वारा दिये गये सुझाव / विचार संज्ञानार्थ सौंपे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड राज्य में एक अतिरिक्त सैनिक स्कूल जखोली जनपद रूद्रप्रयाग में खोले जाने की स्वीकृति प्रदान की गयी थी। सैनिक स्कूल की स्थापना हेतु उत्तराखण्ड राज्य द्वारा अवस्थापना संबंधी सुविधायें उपलब्ध करानी थी। मुख्यमंत्री ने सैनिक स्कूल की स्थापना के लिए केंद्रीय रक्षा मंत्री से राज्य में सीमित संसाधन देखते हुए भारत सरकार से अवस्थापना विकास हेतु वित्तीय सहायता प्रदान किये जाने का अनुरोध किया।
साथ ही मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने नई दिल्ली में केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी.किशन रेड्डी से शिष्टाचार भेंट की। मुख्यमंत्री ने केंद्रीय पर्यटन मंत्री से उत्तराखण्ड राज्य के कुमाऊं मण्डल में एक विरासत सर्किट विकसित करने और गढवाल मण्डल में ऋषिकेश को एक अन्तर्राष्ट्रीय / आईकोनिक पर्यटक गन्तव्य के रूप में विकसित किये जाने के लिए भारत सरकार से विशेष पैकेज के रूप में वित्त पोषण हेतु सैद्धान्तिक स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के कुमाऊं मण्डल में पिथौरागढ़, चम्पावत में प्रागैतिहासिक धार्मिक गुफाओं का विकास, नैनीताल में कैंची धाम, अल्मोड़ा में विरासत सर्किट, निर्बाध कनेक्टिविटी हेतु हैलीपोर्ट्स, ओम पर्वत सर्किट, होम स्टे का विकास, पर्यटक कस्बों का विकास एवं ऐतिहासिक विरासत स्थलों के विकास का प्रस्ताव तैयार किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गंगा नदी के तट पर अवस्थित ऋषिकेश अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर योगनगरी के रूप में विश्व विख्यात है। ऋषिकेश की पर्यटन क्षमता एवं आकर्षणों को बढ़ाने के लिए इसे अंतर्राष्ट्रीय टूरिस्ट डेस्टीनेशन के रूप में विकसित किये जाने की भी योजना है। इन दोनों परियोजनाओं के विकास से राज्य के पर्यटन विकास को नया आयाम मिलेगा।
मुख्यमंत्री ने उपरोक्त दोनों योजनाओं को भारत सरकार से विशेष पैकेज के रूप में वित्त पोषण हेतु सैद्धान्तिक स्वीकृति प्रदान करने के लिए केंद्रीय पर्यटन मंत्री से अनुरोध किया।