38वें राष्ट्रीय खेलों के अंतर्गत “मौली संवाद” पहल एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो रही है। इस अनूठे मंच की परिकल्पना राज्य के विशेष प्रमुख सचिव खेल, श्री अमित सिन्हा द्वारा की गई है। मौली संवाद का मुख्य उद्देश्य खिलाड़ियों, छात्रों और युवाओं को खेल विज्ञान, फिटनेस, पोषण, मानसिक स्वास्थ्य और चोटों की रोकथाम से जुड़ी आवश्यक जानकारियाँ प्रदान करना है।
खेल, मीडिया और डिजिटल दुनिया के विशेषज्ञों का मंच
मौली संवाद के तहत बीते कुछ दिनों में विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों ने अपने विचार साझा किए। इस पहल की खासियत यह रही कि इसमें न केवल वयस्क बल्कि बच्चों को भी आमंत्रित किया गया, जिससे वे अनुशासन, एकाग्रता और मानसिक मजबूती के महत्व को समझ सकें।
आज के मौली संवाद में प्रमुख वक्ताओं में शामिल रहे:
- भारथ गंगाधरन (स्ट्रैटेजिक पार्टनर मैनेजर और यूट्यूबर) – उन्होंने बताया कि सोशल मीडिया एक शक्तिशाली माध्यम बन चुका है, जिससे खेल और फिटनेस के संदेशों को व्यापक दर्शकों तक प्रभावी रूप से पहुँचाया जा सकता है।
- रिका रॉय (NDTV 24×7 की कंसल्टेंट स्पोर्ट्स एडिटर) – उन्होंने कहा कि मौली संवाद जैसे मंच नई रणनीतियाँ सामने लाते हैं, जो खेल और मीडिया जगत को नई दिशा देने में मदद करते हैं।
- स्वीटी बूरा (विश्व चैंपियन मुक्केबाज़) – उन्होंने बताया कि ऐसे संवाद खेल और खिलाड़ियों के समग्र विकास में सहायक होते हैं।
“ड्रीम बिग, अचीव बिगर”: चैम्पियंस की प्रेरक यात्रा
8 फरवरी को आयोजित 10वें मौली संवाद में “ड्रीम बिग, अचीव बिगर: ए चैम्पियंस जर्नी” विषय पर चर्चा हुई, जिसमें खेल और मीडिया जगत की प्रतिष्ठित हस्तियों ने अपने अनुभव साझा किए।
इस सत्र के मुख्य वक्ता थे:
- सरबजोत सिंह (ओलंपिक पदक विजेता निशानेबाज़) – उन्होंने ध्यान (मेडिटेशन) के महत्व पर प्रकाश डालते हुए, मानसिक स्थिरता और आत्म-संयम बनाए रखने के सुझाव दिए।
- नीतू घंघस (वर्ल्ड और कॉमनवेल्थ गेम्स चैंपियन बॉक्सर) – उन्होंने अपनी प्रेरणा मैरी कॉम का जिक्र करते हुए कहा,
“उम्र सिर्फ एक संख्या है, वे आज भी उतनी ही मजबूत हैं।”
जब बच्चों ने उनसे अनुशासन बनाए रखने का राज़ पूछा, तो उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा,
“सपनों को पूरा करने के लिए अनुशासन ही सबसे बड़ी कुंजी है।”
उनके इस संदेश ने युवा प्रतिभाओं को कड़ी मेहनत और समर्पण के महत्व को समझने की प्रेरणा दी। - करिश्मा सिंह (टाइम्स नाउ स्पोर्ट्स की न्यूज़ एडिटर) – उन्होंने मीडिया के बदलते स्वरूप और खिलाड़ियों के ब्रांड वैल्यू निर्माण पर चर्चा की।
संवाद का समापन और प्रेरणादायक संदेश
इस आयोजन का समापन अमित सिन्हा के प्रेरणादायक शब्दों के साथ हुआ। उन्होंने कहा,
“मौली संवाद केवल एथलीट्स के लिए नहीं, बल्कि हर उस व्यक्ति के लिए है, जो एथलीट बनना चाहता है।”
समारोह के अंत में गेस्ट स्पीकर्स को टोकन ऑफ एप्रीसिएशन देकर सम्मानित किया गया।
“मौली संवाद” सिर्फ एक कार्यक्रम नहीं, बल्कि एक आंदोलन है, जो युवाओं को खेल, फिटनेस और मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूक कर रहा है। यह मंच आने वाले समय में और भी अधिक प्रभावी और प्रेरणादायक चर्चाओं के साथ नई ऊँचाइयाँ छूने के लिए तैयार है!