हरियाणा/ अम्बाला :
किसान न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) और अन्य मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे है इसी बीच आज शुक्रवार को किसान ‘आक्रोश दिवस’ मनाने जा रहे हैं। किसान संगठन 26 फरवरी को ट्रैक्टर मार्च और 14 मार्च को रामलीला मैदान में महापंचायत करने वाले है। वहीं इस बीच, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली से सटे हरियाणा में किसान संगठनों के पदाधिकारियों और आंदोलनकारी किसानों के खिलाफ वहां की पुलिस ने राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) के तहत कार्यवाही करनी शुरू कर दी है।
अभी तक किसानों और सरकारो के बीच चार दौर की बैठक हो चुकी है। मगर इन बैठकों का कोई सकारात्मक रास्ता नहीं निकला पाया है। रविवार को सरकार के साथ जब चौथे दौर की बैठक का कोई नतीजा नहीं निकल पाया, तो किसान संगठनों ने 21 फरवरी को दिल्ली मार्च का ऐलान कर दिया है। हालांकि, खनौरी बॉर्डर पर किसान की मौत के बाद मार्च का प्लान टाल दिया गया है। इसके बाद गुरुवार को संयुक्त किसान मोर्चा ने चंडीगढ़ में अहम बैठक करते हुए जिसमें शुक्रवार आज देशभर में आक्रोश दिवस मनाने पर सहमति बनी है।
वहीं हरियाणा पुलिस की ओर से जारी किए गए बयान में बताया गया है कि ’13 फरवरी से किसान संगठनों के जरिए दिल्ली कूच को लेकर शंभू बॉर्डर पर लगे बैरिकेड्स को हटाने का साहस किया जा रहा है। उपद्रवियों ने सरकारी संपत्ति का बहुत नुकसान किया है। इस किसान आंदोलन में कई किसान नेता सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं। जो कानून व्यवस्था बिगाड़ने का काम कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर भड़काऊ भाषण जारी कर रहे है। किसान आंदोलन की आड़ में उपद्रव मचाया जा रहा है।
हरियाणा पुलिस ने प्रेस नोट जारी कर कहा है : ‘आपराधिक गतिविधियों को रोकने व कानून व्यवस्था को बनाये रखने के लिए धारा 2 (3) राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम 1980 (एनएसए एक्ट) तहत किसान संगठनों के पदाधिकारियों को नजरबंद करने की कार्यवाही प्रशासन की ओर से अमल में लाई जा रही है, ताकि किसान आंदोलन के दौरान कानून व्यवस्था बनाई जा सके व सामाजिक सौहार्द बिगड़ने का मौका न मिल पाए.’